Hanumanji Maharaj ki Kripa in Hindi
बजरंगबली ने हर कदम पर साथ दिया – हनुमान जी के चमत्कार की सच्ची घटना
मेरा नाम सुजाता चक्रबर्ती है और प्रभु श्री राम जी, श्रीहनुमान जी और मेरे श्रीगुरुदेवजी के श्रीचरणों में कोटि-कोटि प्रणाम करते हुए मैं नागपुर निवासी 19/12/2021 को हमारे साथ हुए एक घटना को प्रस्तुत करती हूं। Hanumanji Maharaj ki Kripa in Hindi
लगभग दो साल से जयेश भाई हम आपका वीडियो देखते है। सभी देवी देवता के साथ हम श्री हनुमानजी की पूजा भी करते है।आपके वीडियो देखने के बाद से मैं श्री हनुमानजी चालीसा, सुंदरकांड जितना बन सके पढ़ती हूँ। मेरी बेटी भी हनुमान चालीसा का पाठ करती है ।
प्रभु ने पूरे कोरोना काल में हमारी रक्षा की और सदैव हमारे साथ है ये हम हमेशा ही महसुस करते है। छोटी बड़ी मुसीबत दुःख कष्ट आकर निकल जाता है पता भी नही चलता। मेरे शब्द कम पड़ जाते है कि उनकी कृपा दया के लिए किस तरह उन्हें धन्यवाद दुं।
मेरे पति भोपाल में जॉब करते है। मैं नागपुर में बेटी को लेकर रहती हूं। बेटी 12th पास करके एंट्रेंस देकर गाँधीनगर गुजरात मे B.Sc B.Ed का 4 वर्ष का इंटीग्रेटेड कोर्स के लिए दाखिला लिया। लगभग पहला सेमिस्टर समाप्त होने जा रहा था। Hanumanji Maharaj ki Kripa in Hindi
इसी बीच उसे एक विषय गुजराती कठिन लगने के कारण कॉलेज बदलने का बड़ा निर्णय लेना पड़ा। चूँकि सभी तरफ एडमिशन बन्द हो जाने के कारण किसी भी कॉलेज में मेरी बेटी का एडमिशन नही हो रहा था। उसका वर्ष खराब न् हो यह चिंता थी।
हमारे एक रिलेटिव्स जमशेदपुर के एक कॉलेज में है उन्होंने बेटी को वहां के 1/2कॉलेज में ऑनलाइन फॉर्म भरने कहा। यूनिवर्सिटी के मंजूरी के बाद बेटी को कॉलेज में एडमिशन कराना था।और वही उसके रहने के लिए PG की व्यवस्था भी करनी थी। Hanumanji Maharaj ki Kripa in Hindi
19/12/2021 को मैं मेरे पति व बेटी दुरंतो एक्सप्रेस से टाटानगर जाने के लिए नागपुर से निकले। हमारे पास लैगेज कुछ ज्यादा था। हम जमशेदपुर पहुँचकर होटल के लिए ऑटो किये। होटल पहुँचने के बाद पता चला कि हमारे सामान में से एक लेगेज़ कम है वह भी लैपटॉप वाला बैग।
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यह देखकर तो हमारे होश उड़ गए क्योकि उसमें बेटी के सारे महत्वपूर्ण डॉक्यूमेंट्स के साथ ही उसके पढ़ाई सम्बंधित सभी सामग्री सेव है। प्रभु श्री रामजी, श्री हनुमानजी ओर श्रीबाबाजी से प्रार्थना करके बेटी अपने पिताजी के साथ स्टेशन गई। वहां ऑटो स्टैंड में पता किया।
संतोषपूर्ण जबाव न पाकर वे RPF में जाकर पता किए। वह बैग वही प्राप्त हो गया।RPF वालो ने बताया एक व्यक्ति आकर वह बैग जमा करवाया था।उस व्यक्ति का मोबाइल NO RPF वालो ने पहले ले लिया था। उसे कॉल करके बुलाया गया। Hanumanji Maharaj ki Kripa in Hindi
उसने बताया कि यह बैग मुझे एक बच्चे के हाथ मे दिखा। मैंने उसे पूछा ये किसका बैग है? बच्चे ने खुद का बैग बताया। मुझे लगा लेपटॉप वाला बैग इस छोटे बच्चे का नही हो सकता। मैं उससे यह बैग लेकर यहां जमा कर दिया।
जबकि हमे पता है उस व्यक्ति की कहानी में कोई सच्चाई नही है।ऑटो के आगे पीछे सामान रखा होने के कारण वही से मौका देखकर किसी ने हाथ साफ कर दिया होगा। बैग में लेपटॉप, इलेक्ट्रॉनिक सामान और मेडिसिन के अलावा जब कुछ उसके काम की चीज नही मिली तब वह व्यक्ति जाकर बैग जमा करवा दिया होगा।
सबसे बड़ी बात तो यह है कि हमारे कृपा सिंधु प्रभु श्रीराम जी और श्री हनुमानजी महाराज ने उस व्यक्ति को ऐसी प्रेरणा दिए जिससे वह जाकर बैग जमा करने को विवश हो गया। दया के सागर करुणानिधान श्री हनुमानजी महाराज को इस कृपा के लिए कोटि-कोटि धन्यवाद देते है।
जयेश भाई हम आपके आभारी है आप इस चैनल के माध्यम से बहुत ही नेक कार्य कर रहे है। श्री रामजी और श्री हनुमानजी आप पर कृपा बनाये रखें। Hanumanji Maharaj ki Kripa in Hindi
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